कर्क संक्रान्ति 2023

संक्रान्ति का अर्थ होता है। सूर्य का एक राशि से दूसरे राशि में गोचर करना पूरे वर्ष में कुल बारह महीने होते है। इस प्रकार 12 संक्रान्तियां होती है। संक्रान्ति के दिन से ही मास का आरम्भ होता है। सूर्य सभी 12 राशियों में गोचर करते है लेकिन मकर और कर्क संक्रान्ति का विशेष महत्व है। क्योंकि कर्क संक्रान्ति से सूर्य देव की दक्षिणी यात्रा शुरु होती है। इस दिन से 6 महीने भगवान की रात्रि शुरु होती है। शास्त्रो में ऐसा माना गया है। कर्क संक्रान्ति पर भगवान विष्णु और सूर्य देव की विशेष पूजा होती है तथा इस संक्रान्ति पर पितरो का आशीर्वाद प्राप्त होता है। जब सूर्य देव उत्तरायण से दक्षिणायन की ओर जाते है तो मौसम परिवर्तन होता है तथा जब दक्षिणायन से उत्तरायण होते है तो दिन बड़े और राते छोटी लगती है तथा सूर्य देव के दक्षिणायन मे होने से दिन छोटे होने लगते है। हमारे धर्म में कर्क संक्रान्ति का बहुत महत्व है।

कर्क संक्रान्ति का 12 राशियों पर प्रभाव

मेष राशिः- मेष राशि वाले जातकों पर सूर्य के गोचर होने के कई अप्रत्याशित प्रभाव होंगे।  माता के स्वास्थ्य के प्रति चिंताशील रहेंगे तथा जमीन जायदाद से जुड़े हुए मामलों से छुटकारा प्राप्त होगा। पारिवारिक कलेश तथा मानसिक व शारीरिक कष्ट मिल सकते है। शासन सत्ता व व्यवसायिक कार्यों मे पूरा सहयोग रहेगा।

वृषभ राशिः- वृषभ राशि वाले जातकों के लिए सूर्य का गोचर एक वरदान की तरह होगा। धर्म औरअध्यात्म   की तरफ लगाव होगा। परिवार में छोटे भाई-बहनों से मतभेद हो सकते है। विदेशी कम्पनियों मे नौकरी अथवा नागरिकता के लिए किया गया प्रयास भी सफल रहेगा।

मिथुन राशिः- इस राशि के जातकों के लिए सूर्य का गोचर फायदेमंद होगा। परिवार मे झगड़े और विवाद की स्थिति भी कई बार आ सकती है। पिता की सम्पत्ति अथवा जमीन जायदाद से सम्बन्धित मामले शांत होंगे। कार्यक्षेत्र मे षड्यंत्र का शिकार हो सकते है। कही पुरानी रुकी हुई पूंजी मिल सकती है। वेतन तथा पदोन्नति होने की संभावना है। किसी कारण से उर्जा में कमी महसूस कर सकते है।

कर्क राशिः- कर्क राशि के जातकों के लिए सूर्य की संक्रान्ति लाभदायक रहेगी। अपनी राशि मे प्रवेश करते हुए सूर्य का प्रभाव बेहतरीन फल प्रदान करेगा। यद्यपि स्वास्थ्य की दृष्टि से कही न कही शारीरिक पीड़ा का सामना करना पड़ सकता है। समाज में संभ्रात लोगो से मेल जोल बढ़ेंगे। शरीर में विटामीन सी की कमी न होने दें। यदि आप किसी तरह का सरकारी टेंडर के लिए आवेदन करना चाहते है तो लाभ मिलेगा।

सिंह राशिः- इस राशि के जातकों के लिए यह अवधि काफी अनुकूल रहेगी। आपका व्यवसाय भी उन्नति सकता है। उसमे तरक्की होने की उम्मीद है। सेहत के मामले मे ध्यान रखे खाने में पोषक तत्व की मात्रा बढाएं। विरोधी आपको बदनाम करके फायदा उठाने की कोशिश करेंगे।

कन्या राशिः- सूर्य के गोचर होने से इस राशि के जातकों पर कुछ नकारात्मक प्रभाव रहेंगे। व्यवसाय में धन से सम्बन्धित हानि का सामना करना पड़ सकता है। इनके लिए सलाह है कि वह इस वक्त किसी भी काम में पैसा लगाने से खुद को रोके अन्यथा यह हानि वाला हो सकता है। सेहत का ध्यान रखे खान-पान की आदतों में बदलाव करें। मंगलवार को रामचरित मास का पाठ करें, नये विवाहित लोगो के लिए संतान प्राप्ति के योग है।।

तुला राशिः- इस राशि के जातकों के लिए सूर्य का गोचर उनके आने वाले भविष्य के लिए फायदेमंद होगा। यह राशि दशम कर्मभाव में गोचर करते हुए सूर्य से आशीर्वाद प्राप्त करते हुए बेहतरीन सफलता प्राप्त करने वाली है। सोची समझी सभी रणनीतियां कारगर साबित होंगी तथा पूर्ण भी होगी अगर आप किसी क्षेत्र में अपनी किस्मत आजमाना चाहते है तो उसकी दृष्टि से भी गोचर अनुकूल रहेगा। घर वालो से आपके सम्बन्ध बेहतर होंगे। पिता से आर्थिक मदद भी प्राप्त होगी।

वृश्चिक राशिः- इस राशि के जातक पर गोचर करते हुए सूर्य का प्रभाव अनुकूल होगा। कई स्थानो में सफलता अच्छी मिलेगी। साथ ही साथ धार्मिक संस्थाओं में बढ़-चढ़ कर भाग लेंगे अपनी योजनाओं को गोपनीय रखें। जब तक की वह पूर्ण ना हो जाएं। किसी नये अनुबन्ध (एग्रीमेंट) पर हस्ताक्षर करना चाहते है तो यह ग्रह गोचर अनुकूल है। अपने पराक्रम बल पर आप हर परिस्थितियों में भी विजय प्राप्त कर सकते है।

धनु राशिः- इस राशि से अष्टम आयु भाव में गोचर करते हुए सूर्य का प्रभाव अप्रत्याशित रहेगा। जो लोग धार्मिक कार्यों से जुड़े है। उन्हें मान-सम्मान की प्राप्ति होगी झगड़े-विवाद तथा कोर्ट-कचहरी से सम्बन्धित मामले बाहर ही सुलझाए मान सम्मान तथा पद प्रतिष्ठा की वृद्धि होगी। स्वास्थ्य के प्रति ध्यान रखें।

मकर राशिः- इस राशि वाले जातक के राशि से सप्तम दाम्पत्य भाव में गोचर करते हुए सूर्य वैवाहिक मामलों में मुश्किले पैदा करेंगे। शारीरिक व मानसिक कष्ट दूर होंगे व्यवहार में सरलता आयेगी। कार्य और व्यवसाय की दृष्टि से ग्रह गोचर उत्तम रहेगा। झगड़े व कोर्ट-कचहरी से सम्बन्धित मामलें भी आपके पक्ष मे आएंगे।

कुंभ राशिः- कुंभ राशि के जातकों के लिए सूर्य का गोचर अनुकूल है। परिवार के किसी सदस्य की बड़ी सफलता की वजह से घर में खुशी का माहौल रहेगा। प्रेम सम्बन्धित मामलों में परेशानियां रहेगी। संतान से सम्बन्धित चिंता होगी। कार्य और व्यापार में विकास होगा आपके द्वारा लिए गये किसी निर्णय की सराहना होगी। प्रतियोगिता में बैठने वाले छात्रो को परीक्षा में अच्छे अंक लाने का प्रयास सफल होंगे।

मीन राशिः- इस राशि के जातक की राशि से पंचम विद्या भाव में गोचर करते हुए सूर्य कई तरह के अलग-अलग परिणाम दिलाएंगे। आय के स्त्रोत बढ़ेगे और लम्बे समय का दिया हुआ धन भी वापस आयेगा। संतान के सभी दायित्वों की पूर्ति होगी। समाज मे आपका मान सम्मान भी बढ़ेगा। नये विवाहित व्यक्तियों के लिए समय अच्छा रहेगा तथा संतान प्राप्ति के योग है।

कर्क संक्रान्ति का महत्व

शास्त्रो के अनुसार जब सूर्य एक राशि से दूसरी राशि में गोचर करते है तब उस राशि से जुड़ी संक्रान्ति होती है। सूर्य बारह राशियों मे गोचर करते है लेकिन मकर और कर्क संक्रान्ति का विशेष महत्व है। कर्क संक्रान्ति मे देव की दक्षिणी यात्रा शुरु होती है। इस दिन वर्षा मौसम की शुरुआत मानी जाती है। यहां भारत मे मानसून का प्रवेश कर्क संक्रान्ति के दिन से ही होता है। क्योंकि जब सूर्य एक राशि से दूसरी राशि मे प्रवेश करते है और दक्षिणायन यात्रा प्रारम्भ करते है तब मौसम मे बहुत बड़ा बदलाव जरुर होता है। इस दिन जो भी जातक दान-पुण्य करते है उनके मनोरथ पूर्ण होते है। जो लोग अपने पूर्वजो के लिए पितृ तर्पण करना चाहते है। वे दिवंगत आत्माओ का शांति प्रदान करने के लिए कर्क संक्रान्ति की प्रतीक्षा करते है। जब सूर्य मकर राशि में होते है तब अग्नि का प्रकोप अधिक रहता है। जब कर्क संक्रान्ति मे प्रवेश करते है इस दिन जल तत्व की अधिकता बढ़ जाती है।

कर्क संक्रान्ति पूजा विधि

सूर्य का कर्क राशि मे प्रवेश करना और दर्शन यात्रा शुभारम्भ होना मानव जाति के लिए शुभ होता है। यह कहा जाता है कि इस दिन भगवान विष्णु चार मास के लिए शयन में चले जाते है। भगवान विष्णु की पूजा करना अतिशय श्रेष्ठ माना गया है। इस दिन श्रद्धालु को सुबह जल्दी उठकर स्नान करना चाहिए स्नान करने के बाद सूर्य को जल चढ़ाना चाहिए तथा सूर्य मंत्र का जाप करना चाहिए। इसके बाद भगवान विष्णु का ध्यान करें और ओम नमो भगवते वासुदेवाय नमः मंत्र का जाप कीजिए। गरीबो को अन्न तथा गायो को चारा दान करें। सम्पूर्ण कार्य विधि विधान से करने पर भगवान की असीम कृपा प्रदान होती है।

कर्क संक्रान्ति पर दान करने वाली वस्तुएं

☸ सुहागन बुजुर्ग महिला को वस्त्र दान करना चाहिए।
☸ बुुजुर्ग व्यक्ति को पूजा मे पहनने वाला धोती वस्त्र दान किया जाता है।
☸ किसी बालिका को नारंगी रंग का परिधान तथा वस्त्र दान करें।
☸ बालक को हरे फल का दान करना चाहिए।
☸ किसी नवविवाहित दाम्पत्य को भोजन कराना तथा कुछ ना भेंट स्वरुप देना।

कर्क संक्रान्ति शुभ मुहूर्त

कर्क संक्रान्ति पुण्य कालः-  16 जुलाई 12ः13 से 06ः044
संक्रान्ति महा पुण्य कालः- 17 जुलाई 04ः34 से 06ः44 तक

🌟 Special Offer: Buy 1 Get 10 Astrological Reports! 🌟

Unlock the secrets of the stars with our limited-time offer!

Purchase one comprehensive astrological report and receive TEN additional reports absolutely free! Discover insights into your future, love life, career, and more.

Hurry, this offer won’t last long!

🔮 Buy Now and Embrace the Stars! 🔮