ज्योतिष में हाई ब्लड प्रेशर के लिए जानें महत्वपूर्ण उपाय

ज्योतिष शास्त्र में ग्रह काफी महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। ग्रहों के ही आधार पर जातक के जीवन में घट रही घटनाओं तथा आने वाले भविष्य की गणना की जाती है। कई बार अगर हम ग्रहों की गति सही ना हो तो जातक को अनेक परेशानियों का सामना करना पड़ता है और अगर किसी जातक की कुण्डली में ग्रह सही दशा में ना हो तो भी व्यक्ति को परेशानियों का सामना करना पड़ता है और अगर किसी जातक की कुण्डली में ग्रहों की दशा सही है तो व्यक्ति को सकारात्मक परिणाम मिलते हैं। ज्योतिष शास्त्र में भी कई बीमारियों के लिए ग्रह जिम्मेदार होते हैं।

ज्योतिष शास्त्र में हाई ब्लड प्रेशर

शरीर में बहते हुए खून से नालियों में जो दबाव पड़ता है उसे रक्तचाप कहा जाता है। जब यह रक्त का बहाव तेज हो तो उसे रक्तचाप या हाई ब्लड प्रेशर कहते हैं इसी के कारण निम्न रक्तचाप में रक्त का बहाव काफी कम हो जाता है। रक्त का स्वामी मंगल होता है और दबाव का चन्द्रमा इसलिए यह ग्रह हाई ब्लड प्रेशर का कारण होते हैं। गुरु के कारण नलियों में वसा जमा हो जाती है। सूर्य ग्रह के कारण दिल की गति पर प्रभाव पड़ता है। 

कौन से ग्रह होते हैं हाई ब्लड प्रेशर

मंगलः- मंगल ग्रह को रक्त का स्वामी कहा जाता है और इसी के कारण हाई ब्लड प्रेशर की समस्या प्रभावित करती है इसको एक क्रूर ग्रह माना जाता है।

चन्द्रमाः- चन्द्रमा को मन का कारक माना जाता है लेकिन दबाव के लिए चन्द्रमा काफी महत्वपूर्ण होता है इसलिए रक्तचाप में चन्द्रमा और मंगल दोनों काफी बड़ी भूमिका निभाते हैं।

बृहस्पतिः- बृहस्पति के कारण नलियों में वसा जमा हो जाती है और इससे भी हाई ब्लड प्रेशर की समस्या उत्पन्न होती है।

सूर्यः- इसी के साथ सूर्य के कारण हृदय की पंपिग और इससे रक्तचाप प्रभावित होता है तथा इसे खान-पान और योग से काफी हद तक रक्तचाप से बचा जा सकता है।

कब होता है हाई ब्लड प्रेशर

☸ हाई ब्लड प्रेशर के लिए मंगल ग्रह काफी महत्वपूर्ण है क्योंकि जब मंगल ग्रह जातक की कुण्डली में ज्यादा मजबूत हो जाता है तो व्यक्ति को परेशानी का सामना करना पड़ता है।

☸ इसी के साथ जब जातक की कुण्डली में चन्द्रमा की स्थिति खराब होती है तो व्यक्ति को हाई ब्लड प्रेशर की परेशानी से गुजरना पड़ता है।

☸ कुण्डली में अग्नि तत्व की मात्रा अधिक होने के कारण भी यह परेशानी का सामना करना पड़ता है।

☸ कुण्डली में अग्नि तत्व की मात्रा अधिक होेन के कारण भी यह परेशानी होती है।

☸ साथ ही अगर राहु का सम्बन्ध केन्द्र स्थानो से होता है तो उच्च रक्तचाप की समस्या होती है।

☸ वहीं जन्म की तारीख का सम्बन्ध 4, 8 या 19 होने के कारण भी होता है।

कब होता है लो ब्लड प्रेशर

जब व्यक्ति का चन्द्रमा कमजोर होता है तो उसको लो ब्लड प्रेशर होता है। सूर्य ग्रह कमजोर होने पर व्यक्ति को निम्न रक्तचाप की समस्या होती है। इसी के साथ हथेली पर चन्द्र पर्वत पर कालिमा या दाग धब्बे होने पर व्यक्ति को लो ब्लड प्रेशर की परेशानी होती है। वहीं अगर घर में अंधेरा ज्यादा है तो व्यक्ति को लो ब्लड प्रेशर की परेशानी होती है।

निम्न रक्तचाप के उपाय

☸ रोजाना सूर्य को जल अर्पित करना चाहिए।

☸ ओम भास्कराय नमः का जाप करना चाहिए।

☸ साथ ही आपको दिन में नमक, चीनी पानी का घोल तीन या चार बार पीना चाहिए।

☸ इसी के साथ आपको ढ़ेर सारे रसदार फल खाने चाहिए।

हाई ब्लड प्रेशर के ज्योतिष उपाय

☸ भोजन में नमक और तेल का उपयोग कम से कम करना चाहिए।

☸ एक बार में आपको अधिक भोजन नही करना चाहिए।

☸ सूर्योदय से पहले उठना चाहिए और रात में जल्दी सो जाना चाहिए।

☸ आपको हरी सब्जियों का खास कर लौकी और पत्ता गोभी का रस पीना चाहिए।

☸ इसी के साथ प्राणायाम करना चाहिए।

☸ आपको अपने भोजन में अनाज का कम प्रयोग करना चाहिए।

☸ आपको अधिक पानी पीना चाहिए।

☸ साथ ही आपको हल्के रंगों के वस्त्रों का प्रयोग करना चाहिए।

 

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