सुभाष चन्द्र बोस जयन्ती की बात करें तो प्रत्येक वर्ष सुभाष चन्द्र बोस जयन्ती 23 जनवरी को मनायी जाती हैं। इस वर्ष नेताजी सुभाष चन्द्र बोस की 127वीं जयंती पूरे देशभर में मनायी जायेगी। आपको बता दें नेताजी सुभाष चन्द्र बोस एक बहुत ही बड़े वीर सैनिक, महान सेनापति और एक कुशल राजनीतिज्ञ थे। इन्होंने पूरे भारत देश को अंग्रेजों से मुक्त कराने के लिए ही आजाद हिंद फौज की स्थापना की थी साथ ही कुछ जापानी सैनिकों के साथ मिलकर भारत के कुछ हिस्सों को भी आजाद करा दिया था। इसलिए आज भी इतिहास के पन्नों पर भारत के कुछ महान स्वतंत्रता सेनानियों में सुभाष चन्द्र बोस का भी नाम शामिल है। सुभाष चंद्र बोस जी का एक प्रसिद्ध नारा तुम मुझे खून दो मैं तुम्हे आजादी दूंगा आज भी समस्त भारतवासियों के भीतर राष्ट्रभक्ति की ज्वर को पैदा करता है।
सुभाष चन्द्र बोस जी की जीवनी
सुभाषचन्द्र बोस जयन्ती की जीवनी की बात करें तो नेता जी सुभाष जी का जन्म ओड़िशा राज्य के कटक में 23 जनवरी 1897 को हुआ था। एक संपन्न परिवार से रिश्ता रखने वाले नेताजी के सात भाई और छह बहनें थी। इनके पिता का नाम जानकीनाथ तथा माता का नाम प्रभावती देवी था। सुभाष जी अपनी आरम्भिक शिक्षा कटक के रेवेशाँव काॅलेज से पूरी करने के बाद 1913 में कलकत्ता के प्रेसीडेंसी काॅलेज में दाखिला लिए और अपनी इंटरमीडिएट की परीक्षा प्रथम स्थान पर उत्तीर्ण कर लेने के बाद उन्होंने अपना मन प्रशासनिक सेवाओं में कार्यरत होने का लक्ष्य बना लिया और उसी क्षेत्र में आगे बढ़ने के लिए इंग्लैंड के कैंब्रिज विश्वविद्यालय चले गये और वहाँ जाकर शिक्षा ग्रहण की।
प्रशासनिक सेवाओं में सफलता प्राप्त की
सुभाष चन्द्र बोस ने प्रशासनिक सेवाओं में सफलता प्राप्त करने के लिए बहुत ही ज्यादा मेहनत की थी। उस समय अंग्रेजों के शासन के दौरान एक भारतीय के लिए प्रशासनिक सेवाओं में सफलता प्राप्त करना कोई आसान बात नही था। सुभाष चन्द्र बोस जी नें ना केवल अपना लक्ष्य निर्धारित किया था बल्कि उन्होंने प्रशासनिक सेवा की परीक्षा में सफलता प्राप्त कर चैथा स्थान भी प्राप्त किया था। बाद में सुभाष चन्द्र बोस जी ने अपना पद त्याग दिया और अपने देश वापस लौट आये और आते ही आजादी की जंग में शामिल होकर उन्होंने भारतीय राष्ट्रीय काॅग्रेस ज्वाइन कर लिया था।
किसने दी नेताजी की उपाधि
नेताजी सुभाष चन्द्र बोस जी को नेताजी की उपाधि किसने दी थी इस बारे में बहुत ही कम लोग जानते होंगे। तो आपको बता दें जर्मन के तानाशाह अडोल्फ हिटलर ने ही सुभाष चन्द्र बोस जी को पहली बार नेताजी कहकर उन्हें नेताजी की उपाधि दी थी। सुभाष चन्द्र बोस जी को देश का नायक भी कहा जाता हैं। इन्हे देश नायक की उपाधि रवीन्द्रनाथ टैगोर जी ने दिया था।
नेताजी सुभाष चन्द्र बोस के बारे में कुछ महत्वपूर्ण बातें
☸ वर्ष 1942 में सुभाष चन्द्र बोस हिटलर के पास भारत की आजादी का प्रस्ताव लेकर गये परन्तु हिटलर ने सुभाष जी से कोई स्पष्ट बात नही की और नाहि उसने भारत को आजाद करने में कोई दिलचस्पी दिखाई।
☸ नेताजी सुभाष चन्द्र बोस जी नें भारत को पूरी तरह से आजाद करवाने के लिए अपनी आरामदायक नौकरी छोड़ने का फैसला लेकर भारत लौट आये।
☸ राष्ट्रपिता महात्मा गाँधी जी ने सुभाष चन्द्र बोस जी को राष्ट्रपिता कह कर सम्बोधित किया था।
☸ जलियावाला बाग हत्याकांड के दृश्य को देखकर ही सुभाष चन्द्र बोस जी ने भारत की आजादी के संग्राम में जुड़ने का फैसला लिया।
☸ सुभाष चन्द्र बोस जी ने वर्ष 1943 में बर्लिन में आजाद हिंद फौज तथा फ्री इंडिया सेंट्रल की स्थापना की।
☸ इसी समय आजाद हिंद बैंक ने 10 से लेकर 1 लाख रुपये तक के नोट जारी किए जिसमें एक लाख रुपये के नोट में नेताजी सुभाष जी की तस्वीर छपी रहती है।
☸ सुभाष चन्द्र बोस जी को भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस में दो बार अध्यक्ष के रूप में चुना गया।
☸ सुभाष चन्द्र बोस को 1921 से 1941 के बीच में 11 बार देश के अलग-अलग हिस्सों में जेल में कैद किया गया।
☸ सुभाष चन्द्र बोस जी की मृत्यु के बारें में बात करें तो यह आज भी इतिहास के सभी पन्नो में एक रहस्य बनकर रह गया है। इनकी मृत्यु 1945 में जापान जाते समय सुभाष चन्द्र बोस जी का हवाई विमान ताईवान में जाकर क्रैश हो गया जिसके बाद आज तक उनका कुछ पता नही चल पाया है।